नई दिल्ली। हम सब आए दिन दफ्तर में कर्मचारियों के साथ दुर्व्यवहार की घटनाओं को सुनते या पढ़ते हैं। जो लोग प्राइवेट नौकरी करते हैं वो काफी हद तक इन दुर्व्यवहार के शिकार भी होते हैं। ‘वर्कप्लेस टाक्सिक कल्चर’ टर्म इन दिनों खूब चर्चे में हैं।
लोग अब खुल कर अपने साथ हुए दुर्व्यवहार की बात करते हैं और सोशल मीडिया पर उन लोगों और दफ्तरों के खिलाफ लिखते भी हैं जहां ऐसी हरकतें कर्मचारियों के साथ होते हैं। इसी बीच एचएसबीसी बैंक की एक कर्मचारी नितिका कुमारी ने हाल ही में एक लिंक्डइन पोस्ट के जरिए ऑफिस में मौजूद नकारात्मक माहौल के बारे में बताया जिसके बाद ऑफिस कल्चर को लेकर बड़े स्तर पर बहस छिड़ गई है।
HSBC की हैदराबाद शाखा में काम करती हैं नितिका
एक साल से अधिक समय से एचएसबीसी की हैदराबाद शाखा से जुडीं नीतिका ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म लिंक्डइन पर खुद के साथ हुए एक दुर्व्यवहार का अनुभव साझा किया। वर्तमान में अपनी नोटिस अवधि की बाध्यता के तहत काम करते हुए उन घटनाओं के बारे में सोशल मीडिया पर बताया जिस कारण उन्हें कंपनी से बाहार जाने का फैसला लेना पड़ा।
नीतिका को उसके सीनियर ने कहा – एक चमाट मारेंगे…
नीतिका कुमारी ने अपने लिंक्डइन पोस्ट में 22 अप्रैल, 2024 की एक घटना को याद करते हुए बताया अपने साथ हुए दुर्व्यवहार की आपबीती बताई है। नीतिक अपने पोस्ट में बताती हैं कि उनके एक सहयोगी ने जातीय रूप से उनपर असंवेदनशील टिप्पणी की थी। वह लिखती हैं कि उनके सहकर्मी ने उनसे कहा, “एक चमाट मारेंगे, बिहार पहुंच जाओगी।” जिसके बाद इस घटना की सूचना उन्होंने संबंधित सहकर्ममी के मैनेजर को दी लेकिन इस मामले में कोई कार्रवाई नहीं की गई। बाद में टीम की बैठक में, इसे “घृणास्पद टिप्पणी” नहीं मानने के लिए कहा गया।
नीतिका वहीं एक और घटना को याद कर अपनी आपबीती बताती हैं। वह आगे पोस्ट में एक अन्य घटना का जिक्र करते हुए बताती हैं कि एक सहकर्मी ने उनसे टिप्पणी करते हुए कहा, “तेरे जैसी लड़की हम आज तक नहीं देखे हैं, अकेले पूरा यूके टीम का नाम खराब कर के रखी है।” जब इस बारे में उनसे बात की गई तो उन्होंने अपनी टिप्पणी को सही ठहराते हुए कहा, “तुम्हारे अलावा किसी यूके टीम की लड़की को हम सिगरेट पीते नहीं देखे हैं।” नीतिका के मुताबिक उसने उसी सहकर्मी को कार्यालय परिसर में तंबाकू खाते और थूकते हुए भी देखा है।