मेले में रविवार को उमड़ी भीड़, दुकानदारों के खिले चेहरे

  • महिलाओं ने की सामानों की खरीदारी
  • युवक व युवतियों ने झूला का उठाया लुत्फ

बलिया। महर्षि भृगु की तपोस्थली और उनके शिष्य दर्दर मुनि के नाम पर लगने वाले ददरी मेले में रविवार की दोपहर 12 बजे के बाद भीड़ उमडऩा शुरू हो गया। जिससे दुकानदारों के चेहरे पर मुस्कान देखने को मिली। इस दौरान महिलाओं ने जहां सौंदर्य प्रसाधन समेत अन्य सामग्रियों की खरीदारी की। वहींयुवक-युवतियों संग नई नवेली दुल्हनों ने झूला आनंद उठाया। तत्पश्चात चाट, जिलेबी, फुचका, मसाल डोसा, आईसक्रीम आदि का लुत्फ उठाया। सुरक्षा के मद्देनजर झूला से लेकर अन्य स्थानों पर पुलिस के जवान मुश्तैद रहे। इस दौरान मेले में आए युवक-युवतियों संग नई नवेली दुल्हन व नन्हें-मुन्ने बच्चों ने ब्रेक डांस, टोरा-टोरा, नाव आदि पर चढ़कर आनंद लिया। मेले में उमड़ी भीड़ को देख झूला संचालकों के चेहरे पर खुुशी की देखी गई। वहीं कुछ चर्खी झूले अभी तैयार भी‌ किए जा रहे थे। मेला में पहुंचे महिला पुरुषों ने गर्म कपड़ा, खजला, चूड़ी, क्राकरी, सौंदर्य प्रसाधन, चप्पल-जूता, हर एक माल, होजरी, हैंडलूम, खादी अन्य सामानों की खरीददारी की। जिससे ददरी मेला के मीना बाजार में जिले के साथ ही गैर जनपद और गैर प्रांतों से आए
दुुकानदारों के चेहरे पर रौनक साफ झलक रही थी।
प्रत्येक वर्ष की भांति इस वर्ष भी लखनऊ, कानपुर, फैजाबाद, कोलकाता, झारखंड, मेरठ, लुधियाना सहित अन्य स्थानों से आए दुकानदार खजला, चूड़ी, क्राकरी, सौंदर्य प्रसाधन, चप्पल-जूता, हर एक माल, होजरी, हैंडलूम, खादी आश्रम सहित अन्य वस्तुओं की दुकानें सजकर तैयार रही। वहीं कुछ तैयार हो रही थी। इस दौरान सबसे अधिक भीड़ झूला तथा गर्म कपड़ा, सौंदर्य प्रसाधन आदि की दुकानों पर रही। मेला घूमने के बाद लोगों ने चाट, बर्गर, फुचका, डोसा, जिलेबी, आइसक्रीम खाकर आनंद लिया। इसके बाद अपने-अपने गंतव्य के लिए रवाना हुए।

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