बेटियों को बचपन से ही हाँ मे सिर हिलाने का संस्कार दिया जाता है जिला संयोजक

बिसवां सीतापुर । महिला हिंसा के खिलाफ हम सबको मिल कर लड़ना होगा। सामूहिक प्रयास से ही सामाजिक विकास संभव है। महिलाओ के प्रति होने वाली हर तरह के भेदभाव और हिंसा के प्रति लोगों को जागरूक कर उसको रोकने का काम करे।उक्त बात अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस के अवसर पर नागरिक अधिकार संगठन सीतापुर के द्वारा आयोजित सभा मे बिसवां ब्लाक की ग्राम पंचायत भदेशिया के मजरा भगवंता पुर मे सगठन की जिले की संयोजक कमरुन निशा ने कही। कमरुन निशा ने आगे कहा बेटियों को बचपन से ही हाँ मे सिर हिलाने का संस्कार दिया जाता है। जिद करती है विरोध करती है डाट पड़ती है फिर समझाया जाता है कि तुम लड़की हो फिर लड़कियां विरोध नही करती और बंदिशो मे रहने की आदी हो जाती है। वही समाज मे बेटों की हरकत को मर्दानगी कहा जाता है।कहा यह भी जाता है कि अब बेटे की शादी कर दो यानी विगड़े हुए पति को भी सुधारने की जुम्मेदारी भी बेटियों और महिलाओ की होती है ।पति सुधर गया तो ठीक अन्यथा बेटी का जीवन नरक बन जाता है। सामाजिक कार्यकर्ता अंशुमान सिंह ने कहा चुप्पी तोड़ने से ही असमानता और उत्पीड़न रुकेगा। और अधिकार मिलेगा।
संगठन के सचिव हरीशंकर गुप्ता ने कहा देश मे बाल विवाह एक सामाजिक अपराध है इसे सामूहिक प्रयास से रोका जा सकता है।महिलाओ के ऊपर होने वाली हिंसा मे लगातार बढ़ोतरी हो रही है। विभा सिंह ने कहा देश मे एक घंटे मे लगभग 25 यानी हर दो मिनट पर महिलाओ के ऊपर होने वाली हिंसा के मामले दर्ज हो रही है। उन्होने मिशन शक्ति और सरकार द्वारा जारी हेल्पलाइन नम्बरो के बारे मे विस्तार से जानकारी प्रदान की। ग्राम प्रधान नरेन्द्र कुमार मौर्य ने सरकार द्वारा चलाई जा रही योजनाओं पर विस्तार से चर्चा की और महिलाओ को उनके अधिकारों के बारे मे जागरूक किया।इस अवसर पर क्षेत्र पंचायत सदस्य अशोक कुमार ,शिवकुमार कठेरिया ,गुड़िया देवी,मलती देवी,बैजन्ति ,कमला देवी,सुमन देवी,कविता ,सुनीता,आदि प्रमुख रहे।

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