- मामपुर बाना गांव होते हुए अकोहरी को जाने वाली माइनर की पटरी पर कब्जा कर माइनर का अस्तित्व खत्म करने की तैयारी में प्रापर्टी डीलर
लखनऊ- बीकेटी तहसील क्षेत्र के अंतर्गत शारदा प्रखंड सीतापुर से निकलने वाली छोटी नहर से मामपुर बाना गांव होते हुए अकोहरी को जाने वाली माइनर की पटरी पर कब्जा कर उसकी पटाई कर प्रापर्टी डीलर द्वारा खुलेआम सड़क बनाकर प्लाटिंग कर रहें है।इसी तरह से सरसवा, कोटवा और भाखामऊ सहित कई जगहों पर प्रापर्टी डीलर नहर को पाटकर प्लाटिंग का कार्य कर रहे हैं।मगर सिंचाई विभाग के अधिकारियों ने कब्जाधारियों पर कार्रवाई करना तो दूर की बात मौके पर जाकर देखना तक जरूरी नहीं समझते हैं। आलम यह है कि नहर की बाकी की जमीन पर भी लगातार कब्जे हो रहे हैं। हैरत की बात यह है कि विभागीय अधिकारी इस ओर से आख़िर क्यों अनजान बने हुए हैं।यह नहरें और माइनरों से आसपास के किसानों के खेतों और बागों की सिंचाई के काम आती थी।क्षेत्र हजारों हेक्टेयर जमीन की सिंचाई भी कभी इन्ही नहरों के पानी से होती थी। मगर पिछले कई सालो से इन नहरों पर कब्जे जारी हैं।
बता दें कि इन नहरों पर बिना किसी विभागीय अनुमति के ही कुछ नहरों पर कब्जों के साथ ही पुलिया बनाकर सड़क बना दी गई है। इसकेे आलावा मार्ग पर कॉलोनियां काटे जाने का सिलसिला लगातार जारी है। कॉलोनाइजर नहर और उसकी पटरी की जमीन पर लगातार कब्जा कर कॉलोनी में मिला रहे हैं। मगर सिंचाई विभाग इस सब से अनजान बना हुआ है।नहर की जमीन पर अतिक्रमण सड़क भी बनाई जा रही है।अस्ती रोड से भाखामऊ जाने वाली सड़क पर जगह जगह प्लाटिंग की जा रही है।आपको बता दें बीकेटी के सरसवा, कोटवा, भाखामऊ सहित अन्य कई जगहों पर नहर की पटाई कर आवागमन का रास्ता बना दिया गया, सरसवा से जाने वाली भाखामऊ नहर में प्लाटिंग कर्ताओं ने दर्जनों जगह अवैध तरीके से नहर की पटाई कर आवागमन का रास्ता बनाया है। जिसके चलते इन दिनों हो रही नहर की साफ सफाई में भी दिक्कत हो रही है। लेकिन विभागीय अधिकारी हैं, कि इसको खत्म करना नहीं चाहते हैं। जबकि फसलों की सिंचाई का समय चल रहा है और अभी कुछ ही दिनों में सिंचाई के लिए पानी भी नहरे में छोड़ा जाएगा। लेकिन नहरों पर कुंडली मारे प्रापर्टी डीलर पानी आगे बढ़ने नहीं दे रहे हैं, जिसके चलते फसलों की सही ढंग से सिंचाई नहीं हो पा रही है। जबकि प्रापर्टी डीलर अवैध तरीके से नहर में आवागमन का मार्ग बनाकर विभागीय अधिकारियों को चुनौती दे रहे हैं। लेकिन विभागीय अधिकारी हैं कि इसको खत्म करने की कोशिश तक नहीं कर रहे हैं, जबकि इसके चलते सैकड़ो बीघा फसलों की सही ढंग से सिंचाई न होने की वजह से फसलें सूखने की कगार पर है।
जिम्मेदार बोले
कब्जा कर नहर को खत्म कर देने की मुझे जानकारी नहीं है। यदि ऐसा है तो यह बेहद गंभीर मामला है।यदि ऐसा नहीं हुआ है तो मामले की जांच कराई जाएगी। जिन भी लोगों ने नहर पर कब्जा किया है उनको नोटिस जारी कर जरूरी कार्रवाई अमल में लाई जाएगी।अधिकारियों को लिखित रूप से फोर्स के लिए लिखा जा चुका है नहरों पर किए गए अवैध कब्जों को एक सप्ताह के अंदर हटवाया जाएगा।