कार्तिक पूर्णिमा पर तपोस्थली कोटवाधाम में उमड़ा भक्ति का सैलाब…

  • अभहरण पर हुए बच्चों के मुन्डन संस्कार

सिरौलीगौसपुर बाराबंकी। कार्तिक पूर्णिमा के अवसर पर सतनामी संप्रदाय के प्रवर्तक संत समर्थ स्वामी जगजीवन दास साहब की तपोस्थली कोटवाधाम में प्रदेश के विभिन्न जनपदों से हजारों की संख्या में श्रद्धालुओं ने पहुंचकर अभहरण में डुबकी लगाकर स्वामी जी की समाधि पर माथा टेक कर आशीर्वाद लिया।भक्ति का ऐसा सैलाब कि समर्थ साईं जगजीवन साहब की तपोस्थली कोटवा धाम में गोंडा बहराइच, सीतापुर, फैजाबाद, लखीमपुर, रायबरेली, उन्नाव, सुल्तानपुर जैसे विभिन्न जनपदों से हजारों की संख्या में श्रद्धालुओं ने पहुंच कर स्वामी जी के मंदिर के ठीक सामने बने अभरण में डुबकी लगाकर उनकी चौखट पर माथा टेक कर अपनी सुख समृद्धि की कामना किया । वही क्षेत्र के विभिन्न गांवों से श्रद्धालुओ के पहुचने का सिलसिला लगातार जारी है । भक्तों द्वारा यहां पर मंडप के समीप अभहरण पर बच्चों के मुन्डन संस्कार भी कराया गया।।जनपद सीतापुर से आए हुए राम पदारथ बताते हैं कि स्वामी जी के दरबार में उनकी अपार श्रद्धा है मैं यहां पर कार्तिक मास की पूर्णिमा तिथि को हाजिरी देने अवश्य आता हूं । यहां एक बार आने से पूरा साल खुशी-खुशी बीत जाता है।वही जनपद बहराइच से आए रामबरन बताते हैं कि मेरी पीढ़ी दर पीढ़ी के लोग स्वामी जी के भक्त रह चुके हैं । मेले पशुबाजार के साथ ही महिलाओं से सम्बंधित श्रंगार बाजार, खिलौना, कपड़ा, कम्बल,झूला, आदि प्रमुख आकर्षण के केंद्र बने हुए हैं। महंतों के आश्रमों पर भक्तों की भारी भीड़ जमा लगी है। बड़ी गद्दी के महंत नीलेन्द्र बख्श दास के आश्रम पर भक्तों को गुरु दीक्षा देने का सिलसिला चल रहा है। मेले में सुरक्षा व्यवस्था के भारी पुलिस बल तैनात हैं किन्तु स्वास्थ्य विभाग द्वारा मेले में आए लोगों के लिए कोई उचित व्यवस्था नहीं की गई है। वही मेले में शौचालय एवं रैन-बसेरा आदि का भी कोई प्रबंध नहीं है। जिससे मेले में आने वाले लोगों को काफी मुश्किल हालात से गुजरना पड़ा है।

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