देश के 500 से अधिक वकीलों ने जजों के साथ खड़े होने के लिए सीजेआई को लिखा पत्र

नई दिल्ली। राजनेताओं से जुड़े मामलों में न्यायपालिका की चयनात्मक आलोचना करना लोकतंत्र के लिए सही नहीं है। हरीश साल्वे समेत 500 से अधिक प्रमुख वकीलों ने चिंता जाहिर की है। इन सभी वकीलों ने न्यायालय और जजों का समर्थन किया है।

यह अदालत के साथ खड़े होने का समय: वकील
सीजेआई को लिखे पत्र में वकीलों ने लिखा, “कानून को बनाए रखने के लिए काम करने वाले लोगों के रूप में, हम सोचते हैं कि यह हमारी अदालतों के लिए खड़े होने का समय है। हमें एक साथ आने और मौजूदा समय में न्यायालय पर किए जा रहे हमलों के खिलाफ बोलने की जरूरत है।”

एक विशेष ग्रुप न्यायपालिका को कर रहा कमजोर’
पत्र में लिखा गया कि एक किसी विशेष फायदे के लिए न्यायालय की अखंडता को कमजोर करने की कोशिश की जा रही है। वकीलों ने पत्र में लिखा कि एक विशेष ग्रुप न्यायिक फैसलों को प्रभावित करने के लिए दबाव की रणनीति अपना रहा है। खासकर जो मामले राजनीतिक हस्तियों और उनके भ्रष्टाचार से जुड़े मामले हैं।

वकीलों ने ‘बेंच फिक्सिंग’ और घरेलू अदालतों की अराजक शासन जैसे आरोपों पर चिंता व्यक्त की है। वकीलों ने न्यायपालिका की अखंडता को बनाए रखने के लिए सुप्रीम कोर्ट से इन हमलों के खिलाफ सुरक्षात्मक कदम उठाने का अनुरोध किया है।

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