केरल में मासूम के साथ दरिंदगी और हत्या के मामले में आरोपित को फांसी की सुनाई गई सजा

कोच्चि। केरल में पांच साल की मासूम के साथ दरिंदगी और हत्या के मामले में आरोपित को फांसी की सजा सुनाई गई है। मामला अलुवा इलाके का था, जहां एक प्रवासी मजदूर पर पांच साल की बच्ची से दुष्कर्म और फिर हत्या के आरोप लगे थे।

बिहार का रहने वाला था आरोपी
जानकारी के अनुसार, घटना का मुख्य आरोपित बिहार का रहने वाला था। मामला सामने आते ही पुलिस पाक्सो समेत आईपीसी की अन्य धाराओं में केस दर्ज किया। केस कोर्ट में पहुंचा और 100 दिन के अंदर ट्रायल पूरा कर लिया गया।

दोषी को मौत की सजा
लोक अभिययेजक जी मोहनराज ने बताया कि विशेष पॉक्सो अदालत के न्यायाधीश के सोमन ने पांच वर्षीय बच्ची से दुष्कर्म और हत्या के दोषी बिहार निवासी प्रवासी मजदूर अशवाक आलम को मौत की सजा देने का फैसला किया।

अभियोजक ने बताया कि केरल उच्च न्यायालय से पुष्टि के बाद मौत की सजा दी जाएगी। मुख्यमंत्री पिनाराई विजयन ने कहा कि बाल दिवस पर दी गई सजा को बच्चों के खिलाफ हिंसा करने वालों के लिए कड़ी चेतावनी के रूप में देखा जाना चाहिए, जबकि पीड़िता के माता-पिता ने उनकी 5 वर्षीय बेटी को न्याय सुनिश्चित करने के लिए केरल समाज को धन्यवाद दिया।

कोर्ट ने मामले को बताया जघन्य
अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक (कानून-व्यवस्था) एम आर अजित कुमार ने भी दोषी को दी गई सजा पर संतोष व्यक्त किया। अधिकारी ने कहा कि यह दुर्लभतम मामलों में से एक है और अभियोजन पक्ष इसे सफलतापूर्वक साबित करने में सक्षम रहा। जांच 30 दिनों में पूरी की गई। घटना के 100वें दिन आरोपित को दोषी ठहराया गया और आज 110वां दिन है। यह आपराधिक न्याय प्रणाली की मजबूती को दिखाता है।

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