नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बौद्ध धर्म से भारत के जुड़ाव पर जोर देते हुए कहा कि हमें गर्व है कि हम ऐसे देश के वासी हैं जिसने विश्व को युद्ध नहीं बल्कि बुद्ध दिया है। इसलिए भारत विश्व भर में युवा पीढ़ी को भगवान बुद्ध के आदर्शों से प्रेरित करने के लिए प्रतिबद्ध है। उन्होंने नई दिल्ली में आयोजित 12वें एशियाई बौद्ध महासभा शांति सम्मेलन (एबीसीपी) के प्रतिनिधियों का स्वागत करते हुए कहा कि भारत यह सुनिश्चित करने के लिए प्रतिबद्ध है कि विश्व भर में युवा पीढ़ी भगवान बुद्ध के बारे में जाने और उनके आदर्शों से प्रेरित हो।
हमारे सिद्धांत भगवान बुद्ध के सिद्धांतों पर आधारित
बैठक के लिए लिखित संदेश में मोदी ने जोर देकर कहा कि बुद्ध के सिद्धांतों पर भारत की पूरी प्रतिबद्धता है। इसके लिए वह दक्षिण एशिया के हितों के लिए कड़ी वकालत करने की भूमिका निभा रहे हैं। पीएम मोदी ने अपने संदेश में कहा कि इस सम्मेलन का मकसद भारत की तरह ही दक्षिणी विश्व के हितों के लिए प्रतीत होता है। इस देश के सिद्धांत भी हमेशा से भगवान बुद्ध के सिद्धांतों पर आधारित रहे हैं।
चुनौतियां का समाधान देते हैं बुद्ध के सिद्धांत
भारत भगवान बुद्ध की भूमि है और जैसा मैंने पहले भी कहा है हमें इस बात का गर्व है कि हमने विश्व को बुद्ध दिए हैं, युद्ध नहीं। उन्होंने जोर देकर कहा कि पर्यावरण परिवर्तन, संघर्ष, आतंकवाद और गरीबी जैसे वैश्विक मुद्दों को समेकित रुख की आवश्यकता है। बुद्ध के सिद्धांत नासिर्फ देशों को जोड़ते हैं बल्कि साझा चुनौतियां का समाधान भी देते हैं। 16 जनवरी से शुरू बौद्ध सम्मेलन का समापन गुरुवार को हो गया है।