तिलोई अमेठी। सीएचसी में प्रसव कराने के नाम पर लंबे अरसे से की जा रही धन उगाही का सिलसिला थमने का नाम नही ले रहा है। तमाम शिकायतों के बाद भी तीमारदारों से वसूली का खेल लगातार जारी है।सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में तैनात स्टाफ नर्स पर प्रसव कराने के एवज में धन उगाही का मामला एक बार फिर प्रकाश में आया है। पीड़िता के पति ने स्टाफ नर्स के खिलाफ मुख्यमंत्री व स्वास्थ्य मंत्री से शिकायत कर सुविधा शुल्क के रूप में दो हजार रुपये लेने का आरोप लगाते हुए कार्रवाई की मांग की है। स्टाफ नर्स पर पहले भी ऐसे आरोप लग चुके हैं।
सिंहपुर ब्लाक अंतर्गत जेहटा उसरहा निवासी धर्मेंद्र कुमार ने आरोप लगाया है कि 28 मार्च के दिन प्रसव पीड़ा से कराह रही पत्नी संगीता को सीएचसी लेकर पहुंचे, जहां पहुंचते ही स्टाफ नर्स रेनू ने प्रसव में जटिलता होने की बात कहा। जिसके बाद वह पत्नी को दूसरे अस्पताल ले जाने की तैयारी करने लगा। तभी स्टाफ़नर्स ने सौदेबाजी शुरू कर दी। आरोप है कि प्रसव कराने के बदले में उससे दो हजार रुपये की मांग की गई। पीड़ित का कहना है कि रकम देने के बाद प्रसव कराया तो मृत शिशु पैदा हुआ। आरोप यह भी है कि प्रसव से पूर्व स्टाफ़नर्स ने किसी चिकित्सक से जांच कराने की जरूरत भी नही समझी। यही नही मृत शिशु पैदा होने के बाद भी आरोपी नर्स ने रकम वापस नही लौटाई।मुख्यमंत्री व उपमुख्यमंत्री को भेजे गए पत्र में यह भी आरोप है कि इससे पूर्व भी अस्पताल की स्टाफ़नर्स का धन उगाही का वीडियो भी वायरल हुआ था।बावजूद इसके लंबे समय से जमे होने के चलते आरोपी नर्स पर कोई कार्रवाई नही की गई। पीड़ित शिकायतकर्ता ने दोषी के विरुद्ध सख्त कार्रवाई की मांग की है। इस बाबत जब सीएचसी सिंहपुर अधीक्षक डॉक्टर सुनील यादव से बात की गई तो उन्होंने बताया कि मामला मेरे संज्ञान में नहीं है।