वाराणसी| ज्ञानवापी परिसर में हुए भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण के सर्वे की रिपोर्ट सामने आ चुकी है। जिला जज की अदालत के आदेश पर सर्वे रिपोर्ट गुरुवार को सभी पक्षकारों को सौंप दी गई। रिपोर्ट बता रही है कि ज्ञानवापी पहले विशाल मंदिर हुआ करता था जिसे तोड़कर वहां वर्तमान संरचना बनाई गई है। यहां तक कि ज्ञानवापी के सर्वे में एएसआई टीम को अयोध्या में हुई खोदाई से कहीं ज्याद सुबूत मिले हैं। यह कहना है ज्ञानवापी स्थित मां शृंगार गौरी के नियमित दर्शन पूजन की अनुमति देने की मांग को लेकर दाखिल मुकदमे में मंदिर पक्ष वकील विष्णु शंकर जैन का।
सवाल : ज्ञानवापी में हुए एएसआई सर्वे और अयोध्या में हुए सर्वे में क्या समानता है?
जवाब : अयोध्या में हुए सर्वे के दौरान एएसआई को साक्ष्य तलाशने के लिए काफी मेहनत करनी पड़ी थी। वहां मौजूद इमारत गिराई जा चुकी थी, इसलिए साक्ष्य तलाशने के लिए काफी गहरी खोदाई करनी पड़ी थी। जबकि ज्ञानवापी में ढेरों साक्ष्य मौजूद हैं। रिपोर्ट में इनका उल्लेख विस्तार से किया गया है। पश्चिमी दीवार हो या तहखाने में मूर्तियां, ज्ञानवापी में ढेरों साक्ष्य हैं जो बता रहे कि वहां पहले मंदिर था।
सवाल: क्या ज्ञानवापी में और सर्वे की जरूरत है?
जवाब : इस सर्वे में एएसआई ने ज्ञानवापी में कई जगहों पर जांच की, लेकिन कई जगह अभी जांच बची हुई हैं, जहां सर्वे की आवश्यकता है। सुप्रीम कोर्ट के आदेश पर सील पानी की टंकी के सर्वे के लिए सुप्रीम कोर्ट में प्रार्थना पत्र दिया है। इस पर जल्द ही सुनवाई होगी। इसके साथ ही वहां मौजूद इमारत के तहखाने में भी सर्वे होना चाहिए। इसके लिए भी आवेदन देंगे।
सवाल : सर्वे रिपोर्ट की विश्वसनीयता पर कुछ लोग सवाल उठा रहे हैं?
जवाब : यह देश की विश्वसनीय एजेंसी है। अदालत ने सर्वे के लिए उसे नियुक्त किया है। यह एजेंसी विषय विशेषज्ञों के अलावा अत्याधुनिक तकनीक की मदद भी लेती है। उसके ऊपर किसी को अविश्वास नहीं करना चाहिए। ज्ञानवापी के सर्वे में उन्होंने अत्याधुनिक तकनीक और मशीनों का प्रयोग किया। कई जगहों से विशेषज्ञ इस सर्वे में शामिल रहे हैं। इससे अधिक भरोसेमंद रिपोर्ट नहीं हो सकती है। अयोध्या में श्रीराम मंदिर मामले में अदालत का जो फैसला आया, उसके पीछे एएसआई की रिपोर्ट की अहम भूमिका थी।
सवाल : सर्वे रिपोर्ट के निष्कर्षों से आपके मुकदमे को क्या लाभ मिलेगा?
जवाब : हम जिस बात को अदालत के सामने रख रहे थे, उसकी पुष्टि एएसआई ने अपनी सर्वे रिपोर्ट में कर दी है। उसने ज्ञानवापी में मंदिर होने के इतने साक्ष्य दिए हैं कि हमें अदालत में अपनी बात साबित करने में बिल्कुल मुश्किल नहीं होगी।
सवाल : सर्वे रिपोर्ट में कुछ मानचित्र भी हैं, वो क्या दर्शाते हैं?
जवाब : यह मानचित्र पुराने मंदिर की संरचना के बारे में जानकारी देते हैं। इतिहासकार जेम्स प्रिंसेप की किताब में दर्शाए गए इसी तरह का मानचित्र हमने पूर्व में अदालत के समक्ष रखे थे। इससे यह तय होता है कि हमारा मंदिर बेहद भव्य रहा होगा।