कोहरे की ठंड से कांप रहा जनमानस।
तिलोई अमेठी । बुधवार को रात्रि करीब दो बजे लखनऊ होकर सुल्तानपुर जाने वाली बस इन्हौना पहुंची तो बस से उतरते ही विवेक कुमार यादव और शिव कुमार गुप्ता कोहरे और ठंड से कांप रहा था, इन्हौना चौराहे पर बस से उतरते ही हाड़ कपाऊ ठंड से राहत के लिए उसकी निगाहें सरकारी अलाव की तलाश कर रही थी। उसने इधर उधर देखा, लेकिन उसे कहीं सरकारी अलाव नहीं दिखा। दिखता भी कैसे सरकारी अलाव तो सिर्फ कागजों पर जल रहे है, जिन जरुरत मंदों तक अलाव पहुंचने की जरूरत थी उन तक ये सरकारी व्यवस्था नहीं पहुंच सकी। यह अकेले विवेक कुमार और शिव कुमार का दर्द नहीं है। यह हर उस मुसाफिर व राह चलंतुओं का है जिन्हें सरकारी अलाव मयस्सर नहीं हो रहे हैं।
ठंड इतनी है कि गरीबों के लिए हाड़ कपाऊ हैं। फिर भी सरकारी इमदाद का कहीं पता नहीं है। कहने को तहसील प्रशासन बहादुरपुर, इन्हौना, तिलोई, अहोरवा भवानी, शिवरतनगंज, सेमरौता व मोहनगंज समेत बारह स्थानों पर सरकारी अलाव जलाने की सरकारी घोषणा कर रहा है। लेकिन हकीकत प्रशासन की कथनी से मेल नहीं खा रहा है। अलाव की धधक जरूरत मंदों तक नहीं पहुंच सकी है। प्रशासन की हनक से मातहत राजस्व कर्मियों ने भी कागजी अलाव जलाकर सरकारी खाना पूर्ति कर डाली। तहसील प्रशासन भले ही अलाव जलवाने का दावा ठोंक रहा है, लेकिन लोगों के यह गले नहीं उतर रहा है।
जब हमारे इस सम्बन्ध में हमारे संवाददाता ने तहसील तिलोई के उप जिलाधिकारी दिग्विजय सिंह से जानकारी किये जानें का प्रयास किया तो उनसे बात नहीं हो सकी।