उरई : डा. भीमराव आंबेडकर की जयंती के एक दिन पहले शनिवार को टकराव की स्थित उत्पन्न हो गई। दरअसल नगर पालिका द्वारा आंबेडकर पार्क का सुंदरीकरण का काम कराया जा रहा है। पार्क में स्थित प्रतिमा के साथ ग्रिल को रंगा जा रहा था।
बसपा ने आंबेडकर पार्क को भगवा रंग में रंगने पर कड़ा विरोध जताया। बाद में विवाद को टालने के लिए नगर पालिका ने भगवा से मिलते जुलते रंग से ग्रिल की रंगाई न करने का निर्णय लिया।
हल्की नीली थी ग्रिल
संविधान निर्माता डा. भीमराव आंबेडकर की जयंती पूरे देश में धूम धाम से मनाई जाती है, चुनावी माहौल में हर पार्टी डा. भीमराव आंबेडकर की जयंती विभिन्न कार्यक्रम आयोजित कर रही है। शनिवार को आंबेडकर पार्क में सफाई एवं रंगाई का काम किया जा रहा था। आंबेडकर पार्क में पहले प्रतिमा पर गोल्डन रंग पुता था, जबकि ग्रिल हल्की नीली थी। लेकिन इस बार पुताई में डा. भीमराव आंबेडकर की प्रतिमा की रंगाई तो सुनहरे रंग से ही की गई, लेकिन ग्रिल का रंग बदल दिया गया।
भगवा से मिलते रंग की रंग रहे थे ग्रिल
ग्रिल भगवा से मिलते जुलते रंग से रंगी जा रही थी, जिसे देखकर किसी ने माहौल बिगाड़ने की मंशा से फोटो खींचने के बाद उसे एडिट कर दिया। जिसमें प्रतिमा भी भगवा दिख रही थी। बाद में उसे इंटरनेट मीडिया पर पोस्ट कर दिया, इसके अलावा जिलाधिकारी समेत निर्वाचन आयोग में भी शिकायत कर दी।
संवेदनशील मामले को देखते हुए एसडीएम सुरेश कुमार पाल, सीओ सिटी गिरिजाशंकर त्रिपाठी मौके पर पहुंच गए। इंटरनेट मीडिया पर पोस्ट फोटो एवं आंबेडकर पार्क में किए गए रंग में काफी अंतर दिख रहा था।
बसपा के जिलाध्यक्ष धीरेंद्र चौधरी ने फिर भी विरोध जताया उनका कहना था कि किसी भी हालत में आंबेडकर पार्क में भगवा रंग नहीं होना चाहिए।
प्रशासन ने भी बाद में भगवा से मिलता जुलता रंग पार्क में न करने का निर्णय लिया और पुताई का काम रुकवा दिया।
सीओ सिटी गिरिजाशंकर त्रिपाठी हालात सामान्य हैं। इंटरनेट मीडिया पर विवादित पोस्ट करने वालों पर निगाह रखी जा रही है