नई दिल्ली। रेल राज्य मंत्री रवनीत सिंह बिट्टू ने मंगलवार को कहा कि डेरा राधा स्वामी सत्संग प्रबंधन को रेलवे की ओर से पंजाब के ब्यास रेलवे स्टेशन पर विश्व स्तरीय बुनियादी ढांचा उपलब्ध कराने में हर तरह से सहयोग दिया जाएगा।
डेरा राधा स्वामी सत्संग के उच्च स्तरीय प्रतिनिधिमंडल ने आज रवनीत सिंह बिट्टू और उत्तर रेलवे के वरिष्ठ अधिकारियों से मुलाकात की। डेरा के साथ विचार-विमर्श के बाद रेल राज्य मंत्री रवनीत सिंह बिट्टू ने कहा कि रेलवे सत्संग और सामान्य दिनों में डेरा अनुयायियों की भारी भीड़ को समझता है। इसे ध्यान में रखते हुए अमृत भारत स्टेशनों के तहत पुनर्विकसित किए जा रहे रेलवे स्टेशन ब्यास के नए स्टेशन भवन को सभी नागरिक सुविधाओं के साथ विश्व स्तरीय बुनियादी ढांचा से सुसज्जित स्टेशन बनाया जाएगा।
मंत्री ने अधिकारियों से कहा कि वे व्यक्तिगत रूप से एक बार ब्यास रेलवे स्टेशन का दौरा करें तथा टेंडर जारी होने तथा डिजाइन को अंतिम रूप से स्वीकृत होने से पहले डेरा प्रबंधन द्वारा आज सुझाए गए कुछ संशोधन करें।
बिट्टू ने कहा कि ब्यास रेलवे स्टेशन पर पीक सीजन में 30 से 40 हजार यात्री तथा प्रतिदिन 6 हजार यात्री आते-जाते हैं, लेकिन आने वाले समय में सत्संग सीजन में 60 से 70 हजार यात्रियों के आने की उम्मीद है।
डेरा के प्रतिनिधिमंडल ने स्टेशन के प्रस्तावित लेआउट में कुछ बदलावों का सुझाव दिया, जिसके लिए मंत्री ने महाप्रबंधक उत्तर रेलवे को जांच करने के निर्देश दिए। प्रतिनिधिमंडल का मानना था कि ब्यास रेलवे स्टेशन पर भारी भीड़ को देखते हुए प्रस्तावित डिजाइन में मौजूदा दो प्लेटफार्म के अलावा दो और प्लेटफार्म लाइनें बनाई जानी चाहिए। डेरा की तरफ से रेलवे स्टेशन में प्रवेश के लिए सर्कुलेटिंग एरिया तथा स्टेशन भवन से सीधा रास्ता होना चाहिए। छत प्लाजा को प्रस्तावित 24 मीटर से बढ़ाकर 36 मीटर किया जाना चाहिए। प्रस्तावित मल्टी लेवल पार्किंग के स्थान पर सतही पार्किंग दी जानी चाहिए, जिसमें अधिक कारें, बसें, तिपहिया वाहन और टैक्सियां खड़ी हो सकें।
प्रतिनिधिमंडल का यह भी मानना था कि माल ढुलाई का काम निकटवर्ती स्टेशन पर स्थानांतरित किया जाना चाहिए और ब्यास स्टेशन को पूरी तरह से कोचिंग टर्मिनल बनाया जाना चाहिए।
बैठक में उपस्थित वरिष्ठ अधिकारियों में उत्तर रेलवे के महाप्रबंधक शोभन चौधरी, उत्तरी रेलवे के प्रमुख मुख्य अभियंता विजय प्रताप सिंह और डेरा की ओर से प्रतिनिधिमंडल में आरएसएसबी के सचिव डी.के. सीकरी, क्षेत्रीय सचिव गुरविंदर सिंह, रेलवे प्रभारी सीमा धीर, एयर मार्शल सेवानिवृत्त वी.एम. खन्ना और मुख्य अभियंता आर.के. गुप्ता शामिल थे।