नई दिल्ली। भारतीय कुश्ती संघ को लेकर खेल मंत्रालय ने बड़ी कार्रवाई की है। खेल मंत्रालय ने कुश्ती संघ को रद्द कर दिया है। इसके साथ ही नवनिर्वाचित WFI अध्यक्ष संजय सिंह के सभी फैसलों पर भी रोक लगा दी गई है।
नवनिर्वाचित अध्यक्ष संजय सिंह को नंदिनी नगर, गोंडा (यूपी) में अंडर-15 और अंडर-20 राष्ट्रीय प्रतियोगिताओं के आयोजन की जिम्मेदारी दी गई थी।
पहले मुझे पत्र देखने दीजिए: संजय सिंह
निलंबन को लेकर संजय सिंह ने भी प्रतिक्रिया दी। उन्होंने कहा”मैं फ्लाइट में था। मुझे अभी तक कोई पत्र नहीं मिला है।” पहले मुझे पत्र देखने दीजिए, उसके बाद ही मैं टिप्पणी करूंगा। मैंने सुना है कि कुछ गतिविधि रोक दी गई है।”
संजय सिंह के अध्यक्ष बनने पर खिलाड़ी दिखे निराश
बता दें कि संजय सिंह के अध्यक्ष बनने के बाद साक्षी मलिक, बजरंग पूनिया, वीरेंद्र सिंह (गूंंगा पहलवान) जैसे खिलाड़ियों ने इस फैसले पर आपत्ति जाहिर की थी। इन खिलाड़ियों ने आरोप लगाए कि संजय सिंह, बृज भूषण शरण सिंह के करीबी और बिजनेस पार्टनर हैं।
साक्षी मलिक ने दिल्ली स्थित प्रेस क्लब ऑफ इंडिया में आयोजित संवाददाता सम्मलेन के दौरान भावुक होकर उन्होंने कुश्ती से रिटायर लेने का फैसला तक कर दिया था।
खेल मंत्रालय ने क्या कहा?
खेल मंत्रालय ने आदेश में कहा,भारतीय कुश्ती संघ के नवनिर्वाचित कार्यकारी निकाय द्वारा लिए गए फैसले पूरी तरह से नियमों के खिलाफ हैं। ये फैसले भारतीय कुश्ती संघ के प्रावधानों और नेशनल स्पोर्ट्स डेवलेपमेंट कोड का उल्लंघ है।
पहलवानों ने बृजभूषण शरण सिंह पर लगाए यौन उत्पीड़न के आरोप
ओलंपिक मेडलिस्ट साक्षी मलिक ने भारतीय कुश्ती संघ के पूर्व अध्यक्ष बृजभूषण शरण सिंह के खिलाफ यौन उत्पीड़न के आरोप लगाते हुए दिल्ली के जंतर-मंतर में विरोध प्रदर्शन किया था। इस विरोध प्रदर्शन नें साक्षी मलिक के अलावा बजरंग पूनिया सहित कई पहलवानों ने मोदी सरकार से बृजभूषण शरण सिंह पर कानूनी कार्रवाई करने की मांग की थी।