दिल्ली– सिद्धि तक की यात्रा तभी सफल हो सकती है जब बिना रुके, बिना थके, निरंतर अपने उद्देश्य की प्राप्ति के लिए प्रयासरत रहा जाये। अमित शाह के नेतृत्व में गृह मंत्रालय ने 3 साल पहले संकल्प लिया था कि दिसंबर, 2023 से पहले 5 करोड़ वृक्ष लगाये जायेंगे। तब बहुत से लोगों ने इस लक्ष्य का मजाक उड़ाया था और इस पर सवाल भी उठाये थे लेकिन गृह मंत्री अपने अभियान को पूरा करने में लगे रहे और इस क्रम में उन्होंने आज 4 करोड़वें वृक्ष का रोपण किया तथा यह विश्वास दिलाया कि दिसंबर, 2023 तक 5 करोड़ वृक्ष लगाने का लक्ष्य प्राप्त कर लिया जाएगा। वाकई, इससे प्रदर्शित होता है कि अब लक्ष्य तय कर और उसे समय सीमा के भीतर हासिल करने वाली सरकार है। पर्यावरण सुरक्षा को लेकर पहले सिर्फ खानापूर्ति की जाती थी लेकिन अब जिस तरह शीर्ष स्तर पर गंभीरता के साथ कदम उठाये जाते हैं उसका असर निचले स्तर तक हुआ है।
केन्द्रीय गृह और सहकारिता मंत्री अमित शाह ने उत्तर प्रदेश के ग्रेटर नोएडा में स्थित CRPF ग्रुप सेंटर में गृह मंत्रालय के अखिल भारतीय वृक्षारोपण अभियान के अंतर्गत शुक्रवार को जब 4 करोड़वें वृक्ष का रोपण किया तो यह एक अद्भुत घटना थी क्योंकि इससे पहले किसी मंत्री ने पर्यावरण के प्रति इतना प्रेम और समर्पण भाव नहीं दिखाया। अमित शाह ने इस दौरान आयोजित समारोह को संबोधित करते हुए कहा भी कि 5 करोड़ वृक्ष लगाने का ‘अखिल भारतीय वृक्षारोपण अभियान’ पर्यावरण संरक्षण के एक महाकुंभ की तरह है। उन्होंने कहा कि यह अभियान CAPFs की शौर्यगाथा के साथ-साथ पृथ्वी के संरक्षण और जलवायु परिवर्तन के प्रति उनकी संवेदना की एक नई गाथा लिखेगा। गृह मंत्री शाह ने कहा कि वृक्षारोपण से ही पर्यावरण संरक्षण संभव है और आज लगाया गया एक वृक्ष आने वाली कई पीढ़ियों को ऑक्सीजन देने का काम करेगा।
गृह मंत्री ने साथ ही कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने पर्यावरण सुरक्षा की हमारी संस्कृति को बढ़ावा देते हुए क्लाइमेट चेंज और ग्रीन इनिशिएटिव के माध्यम से भारत को दुनिया का लीडर बनाया है। उन्होंने उदाहरण देते हुए बताया कि भारत ने इंटरनेशनल सोलर अलायंस बनाकर एक सूर्य, एक दुनिया, एक ग्रिड परियोजना की शुरुआत की और आज कई देश इस अलायंस के सदस्य बनकर इसमें सहयोग कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि ये मोदी सरकार की बहुत बड़ी उपलब्धि है।
गृह मंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने पर्यावरण के विषय पर अनेक अभियानों के माध्यम से हमारे देश की युगों से चली आ रही पर्यावरण संरक्षण की संस्कृति को नए सिरे से प्रस्थापित करने का काम भी किया है। प्रधानमंत्री मोदी को संयुक्त राष्ट्र ने ‘चैंपियंस ऑफ अर्थ’ के पुरस्कार से सम्मानित भी किया है।
गृह मंत्री अमित शाह ने कहा कि पंचामृत, अंतर्राष्ट्रीय सौर संगठन, 20% इथेनॉल ब्लेंडिंग, बायोगैस को बायोफ्यूल बनाने के लिए 12 आधुनिक रिफाइनरियों का निर्माण और ग्रीन हाइड्रोजन मिशन जैसे भारत के सभी इनीशिएटिव्स को आज पूरा विश्व उत्सुकता से देख रहा है और इनका अनुकरण भी कर रहा है। उन्होंने कहा कि देश की आंतरिक सुरक्षा, आपदा प्रबंधन, सीमा सुरक्षा और सीमाओं पर स्थित प्रथम गाँवों में जन सुविधाएं पहुँचाने के साथ-साथ अब CAPFs वृक्षारोपण अभियान से पर्यावरण संरक्षण की दिशा में अभूतपूर्व काम कर रही हैं। गृह मंत्री ने विश्वास व्यक्त किया कि CAPFs वृक्षारोपण के कार्यक्रम को भी देश की सुरक्षा और वीरता की तरह अपना स्वभाव बनाएंगे।
वृक्षारोपण अभियान को सफल बनाने वालों को सराहा
इस दौरान अपने संबोधन में अमित शाह ने कहा कि सभी केन्द्रीय सशस्त्र पुलिस बलों (CAPFs) के लिए आज का दिन बहुत महत्वपूर्ण है। उन्होंने कहा कि 3 साल पहले यह तय किया गया था कि दिसंबर, 2023 से पहले हम 5 करोड़ वृक्ष लगाएंगे और गैप फिलिंग के बाद इन्हें बड़ा कर दुनिया को समर्पित करेंगे। शाह ने विश्वास व्यक्त किया कि दिसंबर, 2023 तक 5 करोड़ वृक्ष लगाने का लक्ष्य प्राप्त कर लिया जाएगा। उन्होंने कहा कि हमारे CAPFs के सभी जवानों और उनके परिजनों ने इस असंभव दिखने वाले काम को संभव करने के लिए इसे एक चुनौती की तरह लिया, लगाए गए वृक्ष को अपना दोस्त माना और उनकी देखभाल के लिए समय निकाला। उन्होंने कहा कि आज 4 करोड़वां पौधा, वो भी पीपल का, लगाया गया है। शाह ने कहा कि 4 करोड़ हरे-भरे वृक्षों के माध्यम से पृथ्वी को हरा-भरा करने में सभी CAPFs का योगदान हमेशा याद किया जाएगा। यह अभियान CAPFs की शौर्यगाथा के साथ-साथ पृथ्वी के संरक्षण और जलवायु परिवर्तन के प्रति उनकी संवेदना की एक नई गाथा लिखेगा। उन्होंने कहा कि इस वर्ष 1 करोड़ 50 लाख पौधों का रोपण करने का लक्ष्य है, अब तक कुल 4 करोड़ पौधे लगाये जा चुके हैं और हम बहुत जल्द ही 5 करोड़ वृक्ष रोपित करने का लक्ष्य प्राप्त कर लेंगे।
अमित शाह ने कहा कि प्राकृतिक आपदाएं हों या फिर कोरोना जैसी महामारी, हमारे CAPFs ने अपनी जान की परवाह किए बिना जनता पर आए हर संकट में साथ खड़े रहने का जज़्बा दिखाया है। शाह ने कहा कि आज हमारी CAPFs वायब्रंट विलेज कार्यक्रम के माध्यम से देश की सीमाओं पर स्थित हमारे प्रथम गांवों में जनसेवा और जनसुविधा को ज़मीन पर उतारने का काम कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि अब एक और आयाम इसके साथ जुड़ा है जिसके तहत हमारे CAPFs पर्यावरण की सुरक्षा के लिए भी संवेदनशील तरीके से सतत प्रयास कर 4 करोड़ वृक्षों को बड़ा कर चुके हैं और इस वर्ष दिसंबर तक 5 करोड़ वृक्ष रोपण के लक्ष्य को हासिल कर लेंगे। शाह ने कहा कि ये विश्व में सुरक्षा के साथ जुड़ी एजेंसियों के पर्यावरण संरक्षण में सबसे बड़ी उपलब्धि होगी। उन्होंने कहा कि गृह मंत्रालय के सभी अधिकारियों ने कई स्तरों पर इस कार्यक्रम की निगरानी की। साथ ही सभी CAPFs के महानिदेशकों ने इस कार्यक्रम के प्रति कटिबद्धता दिखाई, प्लाटून और सेक्टर स्तर पर भी इस कार्यक्रम को मन से अपनाया गया। उन्होंने बताया कि कई स्थानों पर पौधों की रक्षा के लिए रक्षक बाड़ और जाल लगाए गए और ट्रेंच बनाकर भी पौधों को जीवित रखने के प्रयास हुए। उन्होंने कहा कि इन सभी प्रयासों का परिणाम है कि आज 4 करोड़ वृक्ष धरती को हरा-भरा कर रहे हैं।
केन्द्रीय गृह मंत्री ने कहा कि आज परमवीर चक्र विजेता लेफ्टिनेंट कर्नल एबी तारापोर की जयंती है, जिन्होंने देश की रक्षा के लिए ना केवल सर्वोच्च बलिदान दिया बल्कि अपनी वीरता से मोर्चे की प्रथम पंक्ति में रहते हुए सभी की हौंसला अफज़ाई करने का एक उत्कृष्ट उदाहरण प्रस्तुत किया। शाह ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने अंडमान-निकोबार में एक द्वीप को लेफ्टिनेंट कर्नल एबी तारापोर का नाम देकर हमेशा के लिए उन्हें लोगों की स्मृति में जीवित रखने का काम किया है।
कई परियोजनाओं का उद्घाटन
हम आपको यह भी बता दें कि गृह मंत्री अमित शाह ने इस कार्यक्रम के दौरान केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल (CRPF) के 8 विभिन्न परिसरों में 165 करोड़ रुपए की लागत से कुल 15 नवनिर्मित भवनों और इमारतों का ई-उद्घाटन भी किया। इनमें, 57 करोड़ रुपए की लागत से 102 रैपिड टास्क फोर्स में 220 पारिवारिक आवास का निर्माण, 17 करोड़ रुपए की लागत से ग्रुप सेंटर, रायपुर में 50 बिस्तरों वाले अस्पताल का निर्माण, 16 करोड़ रुपए की लागत से रिक्रूट ट्रेनिंग सेंटर जोधपुर में प्रशासनिक भवन, क्वार्टर गार्ड और परेड ग्राउंड, 11 करोड़ रुपए की लागत से ग्रुप सेंटर, रायपुर में 240 मैन बैरक का निर्माण और देश के विभिन्न हिस्सों में अस्पताल, जिम, मेस, सीवेज ट्रीटमेंट प्लांट, कैंटीन आदि का निर्माण शामिल हैं।