श्रमिक हाजिरी घोटाला मनरेगा में बना कमाई का जरिया

वाह रे मनरेगा बगैर कार्य कराए ही प्रधानों के घर पहुंच जाते हैं रूपये

रामपुर मथुरा सीतापुर केंद्र सरकार द्वारा ग्रामीण अंचलों में रहने वाले गरीबों के लिए गांव में ही रोजगार देने के लिए मनरेगा योजना चलाई गई थी लेकिन प्रधान व संबंधित अधिकारी सरकार की आंखों में धूल झोंक कर मनरेगा योजना को धराशाई किया जा रहा है। जीता जागता उदाहरण ग्राम पंचायत इटिया का है जहां पर मेंन रोड रामकुमार के खेत से बाराबंकी सीमा तक चक मार्ग की पटाई का कार्य तथा भारत के खेत से सुपरवाइजर के खेत तक चकमार्ग पटाई का कार्य दर्शाया जा रहा है मनरेगा पोर्टल पर लगातार फर्जी हाजिरी दिखाकर लाखों रुपए का वारा न्यारा किया जा रहा है ग्रामीणों की शिकायत पर मंगलवार के दिन इटिया ग्राम पंचायत के चकमार्गों को देखा गया जो पहले से ही चक मार्ग पटे थे जिनकी बीच की मिट्टी खोद कर चकमार्ग केकिनारो को बांध दिया गया और बीच में घास ज्यों कि त्यों लगी हुई है।

जिसमें ग्रामीण अजीज तथा पाले कुमार , गोबरे ने बताया कि मेंन रोड रामकुमार के खेत से बाराबंकी सीमा तक चकमार्ग एक माह पूर्व ही पट गया था जिसमें हम दोनों लोगो ने मजदूरी की थी। लगभग 8 दिन से राजू के यहां मजदूरी कर रहा हूं तथा अन्य मजदूरों ने बताया कि प्रधान अमरेंद्र के द्वारा हम लोगों को 300 रूपये प्रतिदिन के हिसाब से दिया गया है पटे हुए चक मार्ग पर पुनः फर्जी मजदूरों की पोर्टल पर उपस्थिति दर्शाकर कार्य होना दर्शा रहे हैं जबकि सड़क पूर्व में ही पट गई थी इस तरह से फर्जी हाजिरी लगाकर लाखों रुपए का घोटाला किया जा रहा है। प्रश्न के जवाब में बताया की अगर हम लोग को के खाते पर प्रधान के द्वारा मजदूरी का पैसा कामना करने के बदले चढ़ाया जाता है अगर कम पैसा है तो 200 रूपये अगर ज्यादा है तो 500 रूपये देते हैं बाकी सारा पैसा ले लेते हैं। जब इस संबंध में खंड विकास अधिकारी विवेक मणि त्रिपाठी से बात की गई तो बताया जांच कर कार्यवाही की जाएगी।

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