तिरुअनंतपुरम। भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन (इसरो) के अध्यक्ष एस. सोमनाथ ने मंगलवार को विजयदशमी के अवसर पर पूर्णामी कावु मंदिर में बच्चों को विद्यारंभ कराया। उन्होंने बच्चों को उनकी शिक्षा की शुरुआत के प्रतीक के रूप में पहला अक्षर लिखने में मदद की।
मंदिर में मलयालम भाषा के अक्षरों में की जाती है पूजा
इसरो प्रमुख ने कहा कि इस मंदिर में देवी-देवताओं के रूप में मलयालम भाषा के अक्षरों की पूजा की जाती है। विजयदशमी के दिन बच्चों को गुरुओं द्वारा ज्ञान के क्षेत्र से परिचित कराया जाता है। यह बच्चों के लिए गुरुओं की ओर से आध्यात्मिकता का आशीर्वाद है जो उन्हें पूरे ब्रह्मांड के बारे में सीखने और समझने में मदद करता है।
‘अंतरिक्ष अभियानों में महिलाओं का प्रतिनिधित्व बढ़ें’
इस अवसर पर सोमनाथ ने देश के अंतरिक्ष अभियानों में महिलाओं का प्रतिनिधित्व बढ़ाने की इच्छा व्यक्त की है। उन्होंने कहा कि चूंकि अंतरिक्ष यात्रियों का चयन और प्रशिक्षण पहले ही किया जा चुका है। इसलिए गगनयान के शुरुआती मिशन में महिलाओं की भागीदारी संभव नहीं होगी। हालांकि भविष्य के गगनयान अभियानों में महिलाओं की अधिक भागीदारी की आशा जताई।
21 अक्टूबर को टीवी-डी1 टेस्ट फ्लाइट को किया गया लॉन्च
बता दें कि इसरो ने शनिवार (21 अक्टूबर) को लॉन्च किए गए टेस्ट फ्लाइट टीवी-डी1 को सफलता पूर्वक लॉन्च किया। बाद में, इसके क्रू मॉड्यूल को समुद्र से रिकवर कर लिया गया। लॉन्चिंग के दौरान क्रू मॉड्यूल रॉकेट से अलग होकर बंगाल की खाड़ी में गिरा था। नौसेना की पूर्वी कमान ने क्रू मॉड्यूल को रिकवर किया था।