गोरखपुर। निर्वाचन आयोग द्वारा विकसित सी-विजल एप पर एक सप्ताह पहले फोटो अपलोड कर शिकायत की गई कि पिपराइच नगर पंचायत में लगे आरओ प्लांट पर प्रधानमंत्री मोदी और मुख्यमंत्री योगी की फोटो लगी जागरूकता संदेश चस्पा है। मौके पर पहुंची प्रशासनिक टीम ने प्लांट के उतने हिस्से को पूरी तरह से ढक दिया, जहां जागरूकता संदेश का यह पोस्टर चस्पा था।
दो दिन पहले फिर यह शिकायत दोहराई गई तो सी-विजल की निगरानी करने वाले अधिकारी, कर्मचारी चौंक गए। मौके पर टीम भेजी गई तो पता चला कि पूर्व में टीम ने जिस पोस्टर को मोटे प्लास्टिक से ढक दिया था, उसे किसी ने फिर खोल दिया है। फिलहाल टीम ने उसे फिर ढका और शिकायतकर्ता को भी एप के जरिए ही निस्तारण की जानकारी दी गई।
यह तो उदाहरण है। आदर्श आचार संहिता के उल्लंघन की शिकायत करने वालों की सहूलियत के लिए निर्वाचन आयोग की ओर से विकसित की गई सी-विजल एप पर तकरीबन रोजाना ही दो-चार फर्जी शिकायतें कर कंट्रोल रूम और फील्ड में तैनात अधिकारियों, कर्मचारियों को छकाया जा रहा है।
इसका सहज अंदाजा इसी से लगाया जा सकता है कि 16 मार्च को चुनावी अधिसूचना जारी होने के बाद से सोमवार की दोपहर तक सी-विजल एप पर कुल 101 शिकायतें दर्ज कराई गईं। इनमें से 67 शिकायतें निराधार मिली। जो 33 शिकायतें सही मिली, उनमें ज्यादातर बैनर-पोस्टर लगे होने की थी और शुरूआत में ही दर्ज कराई गईं थी।
जिला प्रशासन के मुताबिक कार्रवाई की समय-सीमा 30 से 35 मिनट रही जबकि आयोग की तरफ से कार्रवाई की अंतिम समय सीमा 100 मिनट तय की गई है। इसी तरह जिला निर्वाचन अधिकारी यानी डीएम के एक्स हैंडल पर पूर्व के चुनावों के बैनर-पोस्टर की फोटो अपलोड कर शिकायत कर दी जा रही है। जब मौके पर टीम पहुंच रही है तो वहां शिकायत में इस्तेमाल फोटो ही नहीं दिख रही है।
इसी तरह भाजपा ने शहर के विभिन्न क्षेत्रों के पोलों पर अनुमति लेकर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की तस्वीर लगी होर्डिंग लगाई है। इसे भी लेकर दर्जन भर लोग सी-विजल और एक्स हैंडल पर शिकायत कर चुके हैं। इसी तरह करीब आधा दर्जन लोगों ने महादेव फिल्म के पोस्टर को सी-विजल एप पर अपलोड कर शिकायत की है कि इसमें गोरखपुर लोकसभा क्षेत्र के वर्तमान सांसद व प्रत्याशी रवि किशन दिखाई पड़ रहे हैं जो आचार संहिता का उल्लंघन है।
एक शिकायतकर्ता ने तो एक मोबाइल पर यह फिल्म चलाकर, दूसरे मोबाइल से फोटो खींच ली और उसे एप पर अपलोड कर शिकायत कर दी। सी-विजिल एप के प्रभारी व एडीएम प्रशासन पुरुषोत्तम दास गुप्ता के मुताबिक अब तक हुई 101 शिकायतों में 33 को छोड़ बाकी सभी शिकायतें आचार संहिता के उल्लंघन से जुड़ी हुई नही हैं।
कंट्रोल रूम से हो रही निगरानी
आदर्श आचार संहिता के साथ चुनावी प्रचार के लिए अनुमति समेत कई अन्य सुविधाओं के लिए विकसित किए गए ज्यादातर एप की निगरानी पुराने कलेक्ट्रेट परिसर में स्थित ई-डिस्ट्रक्ट भवन से हो रही है। यहां करीब 50 की संख्या में कंप्यूटर लगाए गए हैं।प्राथमिक-माध्यमिक स्कूलों के बीटेक और कंप्यूटर आदि में तकनीकी शिक्षा हासिल करने वाले शिक्षक तैनात किए गए हैं। कंट्रोल रूम के प्रभारी एडीएम प्रशासन पुरुषोत्तम दास गुप्ता और सह-प्रभारी नीरज श्रीवास्तव निरंतर पूरे कंट्रोल रूम की निगरानी कर रहे हैं।
शिकायतें दर्ज कराई गईं सी-विजिल एप पर
ऐसे काम करता है एप लोकसभा सामान्य निर्वाचन 2024 में आदर्श चुनाव आचार संहिता के प्रभावी अनुपालन के लिए निर्वाचन आयोग ने सी-विजिल एप विकसित किया है। इस एप के माध्यम से कोई भी व्यक्ति आदर्श आचार संहिता के उल्लंघन की शिकायत कर सकता है। इसके लिए उसे मौके पर से ही वीडियो या फोटो अपलोड करनी होगी।
शिकायत होते ही इसकी सूचना कंट्रोल रूम में पहुंच जाएगी। साथ ही शिकायतकर्ता के लोकेशन की भी जानकारी हो जाएगी। शिकायत करने के 100 मिनट के भीतर उसका निस्तारण करने का प्रविधान है। समय सीमा को ध्यान में रखते हुए ही ऐसा सिस्टम विकसित किया गया है कि जैसे ही कोई शिकायत करेगा, कंट्रोल रूम के कंप्यूटर पर बीप की आवाज भी आने लगेगी।
सी-विजिल एप मोबाइल फोन पर कर सकते हैं इंस्टाल
सी-विजिल एप आइओएस और एंड्रायड दोनों प्लेटफार्म पर निशुल्क उपलब्ध है। इसे आसानी से अपने मोबाइल फोन पर भी इंस्टाल किया जा सकता है। इस एप के माध्यम से कोई भी आम जनसामान्य, आदर्श चुनाव आचार संहिता के उल्लंघन की शिकायत आडियो, वीडियो और फोटोग्राफ के माध्यम से दर्ज करा सकता है।