अखिलेश ने पार्टी कार्यकर्ताओं को भाजपा के झूठ से सावधान रहने को कहा

लखनऊ। शनिवार को होने जा रहे लोकसभा चुनाव के अंतिम चरण के मतदान से पहले समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव ने अपनी पार्टी के कार्यकर्ताओं, प्रत्याशियों और पदाधिकारियों को एक खास संदेश दिया। अखिलेश यादव ने भाजपा के झूठ और उसके एग्जिट पोल के खिलाफ सतर्क रहने को कहा है।

सपा प्रमुख ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर लिखा, “मैं आज आपसे एक बेहद ज़रूरी अपील कर रहा हूँ। आप सब कल वोटिंग के दौरान भी और वोटिंग के बाद के दिनों में भी, मतगणना खत्म होने और जीत का सर्टिफिकेट मिलने तक पूरी तरह से सजग, सतर्क, सचेत और सावधान रहिएगा और किसी भी प्रकार के भाजपाई बहकावे में न आइएगा।”

भाजपा पर लगाया झूठ फैलाने का आरोप
अखिलेश ने भाजपा पर आरोप लगाते हुए कहा कि वह शनिवार को मतदान खत्म होते ही झूठ फैलाना शुरू कर देगी। उन्होंने लिखा कि दरअसल ये अपील हम इसलिए कर रहे हैं क्योंकि भाजपावालों ने ये योजना बनाई है कि कल शाम को चुनाव खत्म होते ही, वो अपनी ‘मीडिया मंडली’ से विभिन्न चैनलों पर ये कहलवाना शुरू करेंगे कि भाजपा को लगभग 300 सीटों के आसपास बढ़त मिली हुई है, जो कि पूरी तरह से झूठ है।

मनोबल तोड़ना चाहती है भाजपा: अखिलेश
अखिलेश यादव ने दावा किया कि इंडिया गठबंधन की सरकार बनने जा रही है और भाजपा झूठ फैलाकर सपा कार्यकर्ताओं का मनोबल गिराना चाहती है। उन्होंने कहा, ‘आपके मन में ये सवाल उठेगा कि भाजपा को इस दो-तीन दिन का झूठ बोलने से क्या मिलेगा, जबकि ‘इंडिया गठबंधन’ की सरकार बनने जा रही है। इसके जवाब में हम आपको बता दें कि ऐसा झूठ फैलाकर भाजपा वाले आप सबका मनोबल गिराना चाहते हैं, जिससे आपका उत्साह कम हो जाए और आप लोग मतगणना के दिन सावधान और सक्रिय न रहें, जिसका फ़ायदा उठाते हुए भाजपा कुछ भ्रष्ट अधिकारियों की मिलीभगत से मतगणना में धांधली कर सके।’

अखिलेश ने चंडीगढ़ मेयर चुनाव का उदाहरण देते हुए कहा कि जो भाजपाई चंडीगढ़ के मेयर के चुनाव में कोर्ट द्वारा लगवाए गये कैमरों के सामने धांधली करने का बेशर्म दुस्साहस कर सकते हैं, वो चुनाव जीतने के लिए कोई भी घपला-घोटाला करने के लिए उतारू हो सकते हैं, इसीलिए ये सजगता जरूरी है।

‘बहकावे में न आएं’
अंत में उन्होंने पार्टी कार्यकर्ताओं और पदाधिकारियों से विशेष अपील करते हुए कहा कि आप लोग किसी भी भाजपाई ‘एक्जिट पोल’ के बहकावे में नहीं आएं और पूरी तरह से चौकन्ना रहते हुए, अपना आत्मविश्वास बनाए रखते हुए डटे रहें और जीत के अपने मूल-मंत्र ‘मतदान भी सावधान भी’ को याद रखते हुए, जीत का प्रमाण-पत्र लेकर ही संविधान, लोकतंत्र और देश की जनता की जीत का उत्सव मनाएं।

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