नई दिल्ली। आबकारी घोटाले में दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल की गिरफ्तारी के बाद विपक्षी गठबंधन आईएनडीआई रामलीला मैदान में 31 मार्च को आयोजित महारैली में अपनी एकजुटता और शक्ति का प्रदर्शन करेगा। महारैली के लिए दिल्ली पुलिस से अनुमति मिल गई है।
महारैली का नारा, तानाशाही हटाओ, लोकतंत्र बचाओ, रहेगा। इस रैली में आम आदमी पार्टी के वरिष्ठ नेताओं के साथ कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे, कांग्रेस नेता राहुल गांधी, पंजाब के सीएम भगवंत मान, पूर्व केंद्रीय मंत्री शरद पवार, शिवसेना (यूटीबी) अध्यक्ष उद्धव ठाकरे, सपा प्रमुख अखिलेश यादव, राजद नेता तेजस्वी यादव, झारखंड के सीएम चम्पाई सोरेन आदि मौजूद रहेंगे।
आप के दिल्ली संयोजक व कैबिनेट मंत्री गोपाल राय ने कहा कि आम आदमी पार्टी (आप) को इस महारैली में 20 हजार से अधिक लोगों के शामिल होने की अनुमति मिली है। उन्होंने कहा कि अन्य प्रमुख राजनीतिक नेता और आईएनडीआईए के सदस्यों में नेशनल कॉन्फ्रेंस के फारूक अब्दुल्ला, पीडीपी नेता महबूबा मुफ्ती, सीपीआई-एम के सीताराम येचुरी, टीएमसी के डेरेक ओ’ब्रायन, डीएमके के तिरुचि शिवा, जेल में बंद झारखंड के पूर्व मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन की पत्नी कल्पना सोरेन भी रैली में शामिल होंगी।
आप के वरिष्ठ नेताओं के अनुसार, वे रविवार को रामलीला मैदान में महारैली के रूप में बड़े प्रदर्शन की योजना बना रहे हैं, जहां से वे 2024 के लोकसभा चुनाव के लिए सत्तारूढ़ भाजपा सरकार के खिलाफ बड़े स्तर पर अभियान शुरू किया जाएगा। राय ने कहा कि रैली में ज्यादा से ज्यादा लोग आएं, इसके लिए त्रिस्तरीय योजना बनाई गई है।
राय ने दावा किया कि जब से केंद्र की भाजपा सरकार ने मुख्यमंत्री को गिरफ्तार किया है, तब से लोगों में भारी गुस्सा है। उन्होंने कहा कि रैली में हर वर्ग और पेशे के लोगों, छात्रों, युवाओं और आरडब्ल्यूए के सदस्यों व किसानों के भी आने की उम्मीद है।
मंच से बोलने की तैयारी कर रहीं सुनीता, हरदीप ने की राबड़ी से तुलना
अरविंद केजरीवाल की गिरफ्तारी के बाद उनकी पत्नी सुनीता पार्टी को एकजुट रखने के लिए मैदान में उतर चुकी हैं। साथ ही 31 मार्च को आईएनडीआई की महारैली में वह पहली बार राजनीतिक मंच से भाषण देकर राजनीतिक पारी की शुरुआत कर सकती हैं।
इसके लिए वह मंच से बोलने की पिछले कुछ दिनों से तैयारी कर रही हैं। केजरीवाल की गिरफ्तारी के बाद मुख्यमंत्री का संदेश लेकर वह दो बार जनता के सामने भी आ चुकी हैं। वहीं केंद्रीय मंत्री हरदीप सिंह पुरी ने कहा कि भ्रष्टाचार के आरोप में गिरफ्तार होने पर बिहार के तत्कालीन सीएम लालू यादव ने पत्नी राबड़ी देवी को मुख्यमंत्री बना दिया था। अब केजरीवाल भी पत्नी को मुख्यमंत्री की कुर्सी सौंपना चाहते हैं।
दरअसल, केजरीवाल की अनुपस्थिति में सुनीता ही हैं, जिनके नाम पर पार्टी एकजुट है। पार्टी की रणनीति सीएम की गिरफ्तारी को मुद्दा बनाकर जनता से सहानुभूति लेना है। इसे सुनीता के माध्यम से ही बेहतर ढंग से उठाया जा सकता है। आप रणनीतिकारों का मानना है कि महारैली की सफलता का असर लोकसभा चुनाव पर भी पड़ेगा।