राम मंदिर में 22 जनवरी की दोपहर गर्भ ग्रह में प्राण प्रतिष्ठा समारोह आयोजित किया जाएगा। रामलला की प्राण प्रतिष्ठा होने में कुछ ही घंटे का समय शेष बचा। 22 जनवरी को अभिजीत मुहूर्त में यानी दोपहर 12 बजकर 29 मिनट 8 सेकंड से 12 बजकर 30 मिनट 32 सेकंड तक ही शुभ मुहूर्त है जब अयोध्या में रामलला की प्राण प्रतिष्ठा की जाएगी। सभी धार्मिक क्रियाओं और अनुष्ठानों को इस 84 सेकेंड के दौरान ही संपन्न किया जाएगा। सुबह दैनिक मंडप में देवताओं का पूजन शुरू हो गया है। इसके बाद रामलला को जगाया जाएगा। इसके लिए खास मंत्रोच्चारण किया जाएगा। भगवान राम को स्नान कराने के बाद उनका अलौकिक श्रृंगार किया जाएगा।
सुबह 11 बजे से 12 के दौरान चारों वेदों की मंत्र जाप किए जाएंगे। पूजा विधि के दौरान यजमान की भूमिका में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी रहेंगे। रिजवान प्रधानमंत्री के हाथों ही 84 सेकंड की अभिजीत मुहूर्त में रामलला के विग्रह की प्राण प्रतिष्ठा कराई जाएगी। इस कार्यक्रम में राष्ट्रीय स्वयं सेवक संघ के प्रमुख मोहन भागवत, राज्यपाल आनंदीबेन, मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ, राम जन्म भूमि तीर्थ क्षेत्र ट्रस्ट के अध्यक्ष नृत्य गोपाल दास महाराज भी उपस्थित रहने वाले है।
किया जाएगा स्वस्तिवाचन और मंगल मंत्रों का पाठ
प्राण प्रतिष्ठा कार्यक्रम के दौरान आचार्य तिलक, स्वस्तिवाचन और मंगल मंत्रों का पाठ किया जाएगा। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी अयोध्या पहुंचने पर सबसे पहले सरयू नदी में स्नान करेंगे। मंदिर में पूर्व दिशा से प्रवेश करेंगे। आचार्य द्वारा विधिवत दशाविधि स्नान और प्रसिद्ध दान करेंगे। इसके बाद वह गर्भ ग्रह में जाएंगे। यहां प्राण प्रतिष्ठा का पूरा कार्यक्रम संपन्न होगा।
जानकारी के मुताबिक प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी सुबह 10:25 पर अयोध्या स्थित वाल्मीकि इंटरनेशनल एयरपोर्ट पर पहुंचेंगे। राम जन्मभूमि तक पहुंचने में उन्हें आधे घंटे का समय लगेगा। प्राण प्रतिष्ठा की विधि दोपहर 12:20 से शुरू होगी। बता दे की प्राण प्रतिष्ठा के लिए मुहूर्त काशी के विद्वान गणेश्वर शास्त्री द्रविड़ द्वारा निकाला गया है। यह मुहूर्त पौष माह की द्वादशी तिथि को अभिजीत मुहूर्त में है। इस दौरान इंद्र योग के साथ ही मृगशिरा नक्षत्र, मेष लग्न एवं वृश्चिक नवांश में है।
होगा खास कार्यक्रम
अयोध्या में ‘प्राण प्रतिष्ठा’ से पहले करीब दो घंटे तक सुनायी देने वाली दिव्य ‘मंगल ध्वनि’ में देशभर के 50 पारंपरिक वाद्य यंत्रों का उपयोग किया जाएगा। अयोध्या के प्रसिद्ध कवि यतींद्र मिश्र द्वारा संचालित इस भव्य संगीतमय प्रस्तुति को नयी दिल्ली की संगीत नाटक अकादमी से सहयोग प्राप्त है। ‘श्री राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र’ के अनुसार, यह संगीत प्रस्तुति सुबह 10 बजे शुरू होगी। इस कार्यक्रम में उत्तर प्रदेश से बांसुरी और ढोलक, कर्नाटक से वीणा, महाराष्ट्र से सुंदरी, पंजाब से अलगोजा, ओडिशा से मर्दला, मध्य प्रदेश से संतूर, मणिपुर से पुंग, असम से नगाड़ा और काली, छत्तीसगढ़ से तंबूरा, बिहार से पखावज, दिल्ली से शहनाई और राजस्थान से रावणहत्था बजाने वाले कलाकर शामिल होंगे।