नईदिल्ली। एक्सपर्ट्स का कहना है कि घरेलू स्तर पर कोई भी प्रमुख उत्प्रेरक न होने से छुट्टियों वाले इस सप्ताह में शेयर बाजार के सीमित दायरे में ही रहने की संभावना है। एक्सपर्ट्स के मुताबिक, गुरुवार को मासिक डेरिवेटिव सौदों की समाप्ति के बीच इस सप्ताह शेयर बाजार सूचकांकों को उतार-चढ़ाव का सामना करना पड़ सकता है।
सोमवार को क्रिसमस के अवसर पर शेयर बाजार बंद रहेंगे। स्वस्तिका इन्वेस्टमार्ट लिमिटेड के शोध प्रमुख संतोष मीणा ने कहा, इस सप्ताह क्रिसमस की छुट्टियां होने से वैश्विक स्तर पर संकेतों की कमी रहेगी। इससे घरेलू बाजार की गतिशीलता ही उद्योग क्षेत्रों और खास शेयरों में उतार-चढ़ाव को नियंत्रित करेगी। उन्होंने कहा कि सीमित संकेतों के साथ दिसंबर वायदा एवं अनुबंध सौदों की समाप्ति बाजार में उतार-चढ़ाव की स्थिति ला सकती है।
बीते सप्ताह बीएसई सेंसेक्स में 376.79 अंक यानी 0.52 प्रतिशत की गिरावट रही जबकि एनएसई निफ्टी में 107.25 अंक यानी 0.49 प्रतिशत का नुकसान रहा। घरेलू बाजारों में यह गिरावट तेजी के नए रिकॉर्ड बनाने के बाद आई। दोनों ही मानक सूचकांक 20 दिसंबर को कारोबार के दौरान अपने ऑलटाइम हाई पर पहुंच गए थे।
कोटक आल्टरनेट एसेट मैनेजर्स लिमिटेड के मुख्य निवेश रणनीतिकार जितेंद्र गोहिल ने कहा, हालांकि भारत के इक्विटी बाजार का मूल्यांकन ऊंचा है लेकिन केंद्र में स्थिर सरकार आने की संभावना से सेंसेक्स और निफ्टी अभी ऊंचाई पर बने रह सकते हैं। इसके अलावा विदेशी पोर्टफोलियो निवेशकों की हिस्सेदारी 10 साल के निचले स्तर पर होने से ऋण बाजार में विदेशी खरीदारी आ सकती है।
एक्सपर्ट्स के मुताबिक, बाजार कुछ समय से रिकॉर्ड बनाने की होड़ में लगे हुए थे। ऐसे में मुनाफावसूली के रूप में इस पर लगाम लगने की आशंका बनी हुई थी। यही कारण है कि लगातार सात हफ्तों की बढ़त के बाद सप्ताह का समापन गिरावट के साथ हुआ है।
मोतीलाल ओसवाल फाइनेंशियल सर्विसेज लिमिटेड के खुदरा शोध प्रमुख सिद्धार्थ खेमका ने कहा, क्रिसमस के साथ छुट्टियों का सिलसिला शुरू हो रहा है। ऐसे में हमें उम्मीद है कि इस सप्ताह विशिष्ट शेयरों पर जोर रहने के साथ बाजार सीमित दायरे में रहेंगे। इसके अलावा वैश्विक तेल मानक ब्रेंट क्रूड और अमेरिकी डॉलर के मुकाबले रुपये की स्थिति भी शेयर बाजार की दिशा तय करने में अहम भूमिका निभाएगी।