- घोड़ो की टापों से गूंज उठा घुड़दौड़ मैदान
)बाराबंकी। देवा मेला के घोड़ा बाजार में इस बार 8 लाख से लेकर 30 लाख तक के घोड़े आकर्षण का केंद्र बने हुए है। मंगलवार को घुड़दौड़ मैदान एक बार फिर घोड़े की टापों से गूंज उठा। यहां धीरे-धीरे घोड़ा बाजार में एक से एक बढ़कर नस्ल की आमद बढ़ गई है। जिन्हे खरीदने व देखने वालों की भारी संख्या में भीड़ एकत्रित होती है। बता दें कि देवा मेला की घोड़ा बाजार प्रदेश के नामी पशु बाजारों में एक है। इस बाजार में दूर दराज इलाकों व गैर प्रांत से एक से बढ़कर एक नल के घोड़े बिकने के लिए आते है। जिन्हें खरीदने के लिए प्रदेश के विभिन्न हिस्सों से घोड़े को रखने के शौकीन खरीददारी वह बिक्री के लिए आते है। इस बार मेले में बड़ी संख्या में घोड़ा व्यापारियों के कैंप लगकर तैयार हो गए है। ऐसे में यहां होने वाली प्रतिदिन घोड़े की रेस को देखने के लिए दूर दराज इलाकों से बड़ी संख्या में लोग जमा होते है। जोकि हवा से बात करते घोड़ो को देख व उनकी टापों की गूंज को सुनकर रोमांचित हो उठते है। इस बार मेले की घोड़ा बाजार में सिंधी मारवाड़ी मुल्तानी सहित कई नस्लों देवा मेला के घोड़ा बाजार में इस बार 30 लाख से लेकर 8 लाख तक के घोड़े आकर्षण का केंद्र बने हुए है।
मंगलवार को घुड़दौड़ मैदान एक बार फिर घोड़े की टापों से गूंज उठा। धीरे-धीरे घोड़ा बाजार में एक से एक बढ़कर नस्ल की आमद बढ़ गई है। जिसे देखने वालों की भारी संख्या में भीड़ एकत्रित होती है। बता दें कि देवा मेला घोड़ा बाजार प्रदेश के नामी पशु बाजारों में एक है। इस बाजार में दूर दराज इलाकों वह गैर प्रति से एक से बढ़कर एक नल के घोड़े बिकने के लिए आते है। जिन्हें खरीदने के लिए प्रदेश के विभिन्न हिस्सों से घोड़े को रखने के शौकीन खरीददारी वह बिक्री के लिए आते है। इस बार मेले में बड़ी संख्या में घोड़ा व्यापारियों के कैंप लगकर तैयार हो गए है। ऐसे में यहां होने वाली प्रतिदिन घोड़े की रेस को देखने के लिए दूर दराज इलाकों से बड़ी संख्या में लोग जमा होते है। जोकि हवा से बात करते घोड़ो को देख व उनकी टापों की गूंज को सुनकर रोमांचित हो उठते है। इस बार मेले की घोड़ा बाजार में सिंधी, मारवाड़ी, मुल्तानी, सहित कई नस्लों के घोड़े बिक्री के लिए पहुंच गए है। यहां घोड़ो के कैंम्प में घोड़े मालिक अजय वर्मा ने बताया कि वह पिछले 8 सालों से यहां घोड़े बेचने आते है। यहां घोड़ों की अच्छी क़ीमत मिलती है। देश के कोने-कोने से यहां आकर घोड़ा व्यापारी खरीददारी करते है। अजय के पास पांच घोड़े है। जिन सभी की कीमत अलग-अलग है।इसमें सफ़ेद रंग के नस्ल की घोड़े की कीमत 8 लाख का है। यह अभी महज 3 साल का है। अभी बाजार में इस नस्ल का घोड़ा नहीं है।