नई दिल्ली। जी20 शिखर सम्मेलन के मौके पर प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने वैश्विक जैव ईंधन गठबंधन (जीबीए) की घोषणा की। जीबीए जैव ईंधन को अपनाने की सुविधा के लिए सरकारों, अंतरराष्ट्रीय संगठनों और उद्योग का गठबंधन विकसित करने के लिए भारत के नेतृत्व वाली एक पहल है।
सरकार के अनुसार जीबीए की घोषणा जी20 अध्यक्ष और “वॉयस ऑफ द ग्लोबल साउथ” का प्रतिनिधित्व करने के रूप में भारत के सकारात्मक एजेंडे की कार्रवाई उन्मुख प्रकृति को प्रदर्शित करती है।
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने गठबंधन में शामिल होने वाले सदस्य देशों का धन्यवाद देते हुए एक्स पर कहा कि वैश्विक जैव ईंधन गठबंधन का शुभारंभ स्थिरता और स्वच्छ ऊर्जा की दिशा में हमारी खोज में एक महत्वपूर्ण क्षण है।
19 देश और 12 अंतरराष्ट्रीय संगठन पहले ही इसमें शामिल होने के लिए सहमत हो चुके हैं।
जीबीए का समर्थन करने वाले जी20 देश (07): 1. अर्जेंटीना, 2. ब्राज़ील, 3. कनाडा, 4. भारत 5. इटली, 6. दक्षिण अफ़्रीका और 7. अमेरिका हैं। इसे समर्थन करने वाले जी20 आमंत्रित देश बांग्लादेश, सिंगापुर, मॉरीशस, और संयुक्त अरब अमीरात हैं। जीबीए का समर्थन करने वाले गैर जी20 देशों में आइसलैंड, केन्या, गुयाना, पैराग्वे, सेशेल्स, श्रीलंका, युगांडा और फिनलैंड हैं।
अंतरराष्ट्रीय संगठन विश्व बैंक, एशियाई विकास बैंक, विश्व आर्थिक मंच, विश्व एलपीजी संगठन, सभी के लिए संयुक्त राष्ट्र ऊर्जा, यूनिडो, बायोफ्यूचर्स प्लेटफार्म, अंतर्राष्ट्रीय नागरिक उड्डयन संगठन, अंतरराष्ट्रीय ऊर्जा एजेंसी, अंतरराष्ट्रीय ऊर्जा मंच, अंतरराष्ट्रीय नवीकरणीय ऊर्जा एजेंसी, विश्व बायोगैस एसोसिएशन हैं।