पिता की तहरीर पर चार लोगों के खिलाफ मलिहाबाद थाने में मुकदमा दर्ज
निष्पक्ष प्रतिदिन/मलिहाबाद,लखनऊ। मलिहाबाद थाना क्षेत्र के नबीनगर गांव में युवक को प्रेम प्रसंग के चलते प्रेमिका के परिजनों ने उसकी हत्या कर गांव में ही खाली पड़े मकान में छत के छल्ले में रस्सी के सहारे टांग दिया। इस मामले में मृतक युवक के पिता ने चार लोगों पर हत्या का मुकदमा दर्ज कराया है। वहीं पीएम के बाद पुलिस ने युवक के शव को परिजनों के सुपुर्द कर दिया है।
मलिहाबाद थाना क्षेत्र के नबीनगर गांव निवासी सुरेश कुमार पीआरडी में कार्यरत हैं। उनका पुत्र रवि प्रजापति (22) गांव में ही बीज भंडार की दुकान चलाता था। बुधवार रात रवि घर से निकला जिसके बाद देर रात तक घर वापस नहीं लौटा। देर होने के कारण युवक की मां और बड़ा भाई पंकज उसकी तलाश में जुट गए। सुरेश कुमार ने बताया कि वह पीआरडी की ड्यूटी से लखनऊ के कैंट में थे तभी उनकी पत्नी ने फोन करके बताया कि गांव के ही अवधेश यादव, आकाश यादव, गौरव उर्फ शशि, सौरभ ने मिलकर पड़ोसी संतोष प्रजापति के खाली पड़े मकान में रवि को मारकर छत के छल्ले में रस्सी डालकर लटका दिया है। मृतक के पिता सुरेश कुमार ने प्रार्थना पत्र में खुद इसका जिक्र किया है कि आरोपी आकाश यादव की बहन के साथ में बेटे रवि का कई वर्षों से प्रेम प्रसंग चल रहा था जिसको लेकर कई बार झगड़ा हुआ तथा जान से मारने की धमकी भी दी जा चुकी है। सुरेश कुमार ने बताया कि बेटे का मर्डर होने से पहले रवि की फेसबुक आईडी पर एक व फिर तीन वीडियो आकाश यादव की बहन के जारी हुए जिसे देखने के बाद अवधेश यादव, आकाश यादव, गौरव उर्फ शशि, सौरभ ने रवि की हत्या कर खाली पड़े मकान में टांग दिया और बड़े बेटे पंकज को बुलाकर दिखाया। पंकज ने बताया कि छोटे भाई रवि के पैर जमीन से टच हो रहे थे और उसकी जीभ भी बाहर नहीं निकली थी। पीड़ित सुरेश कुमार ने बताया कि घटना के बाद आरोपी आकाश यादव व शशि ने डंडा लेकर उसकी पत्नी को दौड़ा लिया वहीं ग्रामीणों ने चार-पांच लोगों को कमरे से भागते हुए भी देखा है। घटना के बाद रात में ही इसकी सूचना पुलिस को दी गई। सूचना पाकर मौके पर पहुंची पुलिस ने छानबीन कर शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया था। गुरुवार को पीएम के बाद पुलिस ने मृतक रवि के शव को परिजनों के सुपुर्द कर दिया। परिजनों ने शव का अंतिम संस्कार होने से पहले आरोपियों की गिरफ्तारी की मांग शुरू कर दी। देर शाम तक एसीपी मलिहाबाद वीरेंद्र विक्रम सिंह ने परिजनों को समझाने बुझाने का प्रयास किया लेकिन परिजन आरोपियों की गिरफ्तारी की मांग पर अड़े रहे।