वाराणसी। काशी को स्मार्ट सिटी की श्रेणी में रखते हुए कई योजनाएं धरातल पर आ चुकी हैं और कई प्रस्तावित हैं। कई पर तेजी से काम चल रहा है। उनमें एक महत्वपूर्ण योजना है हाईवे और रिंग रोड से शहर में आने वाली छह सड़कों का चौड़ीकरण। इनमें तीन सड़कों को छोड़कर शेष तीन पर सीवर लाइन डालने के लिए खोदाई तय है।
926 करोड़ से बन रही इन तीन सड़कों पर खोदाई से पैसे की बर्बादी संग राहगीरों को परेशानी भी होगी। सवाल उठता है कि सड़क बनाने से पहले सीवर लाइन क्यों नहीं डाली गई। क्यों नहीं जलनिगम के अधिकारियों ने सुझाव दिया और प्रस्ताव में शामिल कराया। इसके लिए जिम्मेदार कौन है। इन सवालों का जवाब किसी अधिकारी के पास नहीं है।
शहर के विकास का खाका खींच रहे अफसरों ने सीवर लाइन को लेकर कोई ठोस योजना नहीं बनाई। यही कारण है कि घरों का गंदा पानी गलियों और सड़कों पर बह रहा है। पुराने सीवर लाइन जाम होने से गंदा पानी निकल नहीं पा रहा है।
मंडलायुक्त और जिलाधिकारी विकास योजनाओं की बैठक करने के साथ संबंधित विभाग को समन्वय बनाकर विकास कार्य करने को कहते हैं। जलनिगम को मुख्य मार्गों पर सीवर लाइन का प्रस्ताव बनाने को कहा था, फिर भी किसी ने ध्यान नहीं दिया।
इन सड़कों पर नहीं है सीवर लाइन
लहरतारा से बीएचयू
लहरतारा से मोहनसराय
कलेक्ट्री फार्म से रिंग रोड
इतने करोड़ में सड़कों का चौड़ीकरण कैंट से मोहनसराय तक
लागत-412.53 करोड़
लंबाई-13 किमी
कलेक्ट्री फार्म-रिंग रोड तक
लागत-272 करोड़
लंबाई-8.6 किमी.
पांडेयपुर से रिंग रोड वाया काली मंदिर
लागत-218.66 करोड़
वाराणसी से काली मंदिर से आवास विकास कालोनी होते हुए वाराणसी-आजमगढ़ मार्ग तक-2.40 किमी
पांडेयपुर चौराहे से रिंग रोड तक फोरलेन-4.10 किमी
कुल लंबाई-6.5 किमी.
कचहरी से संदहा तक
लागत-212 करोड़
कुल लंबाई-9.325 किमी.
पड़ाव से टेंगरा मोड़
लागत-1985.41 लाख
कुल लंबाई-6.8 किमी.
लहरतारा से बीएचयू व रविंद्रपुरी कालोनी होते विजया सिनेमा तक फोरलेन
लागत-241.80 करोड़
कुल लंबाई-9.512 किमी
लोक निर्माण विभाग अधिशासी अभियंता केके सिंह ने कहा कि तीन सड़कों पर सीवर लाइन पड़ी है और तीन पर नहीं है। हमें सिर्फ सड़क बनाने को कहा गया है। सीवर लाइन डालने का काम जल निगम का है। सड़क बनने के बाद हम खोदने नहीं देंगे। बाद में सीवर लाइन डालने पर सड़क बैठने लगती है।